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CM ऊर्जा अफसरों पर भड़के:पूछा,`जब बिजली संकट शुरू हो रहा था तो समाधान क्यों नहीं तलाशा’?

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आधी-अधूरी तैयारियों के साथ पहुंचे अफसरों को अल्टिमेटम-आइंदा फिर ऐसा हुआ तो खुद जिम्मेदार होंगे

Chetan Gurung

CM पुष्कर सिंह धामी शुक्रवार को सचिवालय में ऊर्जा  विभाग के अफसरों-इंजीनियरों पर बिजली की अत्यधिक कटौती पर जम कर भड़के और खुल के न सिर्फ नाराजगी जाहिर की बल्कि उनसे तत्काल जवाब तलब किया की जब संकट शुरू हो ही रहा था तो वे क्या कर रहे थे? ताज्जुब की बात ये रही कि CM की बैठक में भी अफसर आधी-अधूरी जानकारी के साथ बेहद लापरवाही के साथ पहुंचे। उनको भी तगड़ी फटकार मारते हुए मुख्यमंत्री ने अल्टिमेटम दिया कि आइंदा फिर ऐसा हुआ तो अपने अंजाम के लिए खुद जिम्मेदार होंगे।

M Pushkar Singh Dhami, CS Dr Sukhbir Singh Sandhu and ACS Anandbarddhan in a Review meeting of Power Crisis

उत्तराखंड में इन दिनों गर्मी शुरू होते ही बिजली की भीषण कटौती शुरू हो गई है। इसके चलते लोग बेहद परेशान हैं। औद्योगिक इकाइयां बुरी तरह प्रभावित हो रही हैं। उनके यहाँ कामकाज या तो ठप्प हो रहा या फिर उसकी रफ्तार कम हो रही। लोगों की दिक्कतों और उद्यमियों की समस्याओं को देखते हुए पुष्कर ने साफ कहा कि ऊर्जा-बिजली से जुड़े अफसरों-इंजीनियरों को अपनी कार्यशैली सुधारनी होगी। लापरवाही और अकुशलता बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

उन्होंने सचिव (ऊर्जा) मीनाक्षी सुंदरम, यूपीसीएल, पिटकुल और यूजेवीएनएल के शीर्ष अफसरों-इंजीनियरों को निर्देश दिए कि वे बिजली संकट को हल करने से संबन्धित रिपोर्ट तैयार कर उनको और मुख्य सचिव को दें। उन्होंने फटकार लगाते हुए बिजली महकमे के अफसरों से जवाब मांगा कि औद्योगिक क्षेत्रों एवं प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में बिजली संकट की शुरूआत हो रही थी तो वे क्या कर रहे थे? इसके हल के लिए क्यों ठोस कोशिशें नहीं की गईं? अफसर जवाब देने के बजाए पेशानी पर पसीने की बूंदे लिए बगलें झाँकते दिखे।

बैठक में कई मामलों में अफसर मुख्यमंत्री के सवालों के जवाब नहीं दे पाए। ऐसे अधिकारियों को CM की तरफ से तल्खी के साथ निर्देश दिए गए कि  फिर ऐसे अधूरी तैयारी के साथ बैठक में आएँ तो वे अपना अंजाम भी सोच के रख लें। मुख्यमंत्री ने ऊर्जा एवं वैकल्पिक ऊर्जा की बैठक जल्द बुलाने के निर्देश दिए। उन्होंने चेतावनी दी कि सभी अधिकारी पूरी तैयारी और समस्या के समाधान के साथ ही बैठक में आएंगे। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में ऊर्जा एवं पर्यटन के क्षेत्र में अनेक संभावनाएं हैं। इसका इस्तेमाल बतौर संसाधन और ताकत राज्य के विकास में करना होगा।

उन्होंने अफसरों-इंजीनियरों से कार्य संस्कृति में सबसे पहले व्यावहारिकता लाने पर बल दिया। राज्य-देश के विकास के लिए सभी विभागों को आपसी तालमेल से काम करने के निर्देश दिए। उन्होंने राज्य में सोलर ऊर्जा को भी बढ़ावा देने पर बल दिया। बिजली चोरी की शिकायतों पर संबंधित क्षेत्रों के अधिकारियों पर सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए। मुख्य सचिव डॉ. एसएससंधु, ACS आनन्दबर्द्धन, निदेशक (उरेडा) एवं अपर सचिव रंजना राजगुरू, अपर सचिव इकबाल अहमद,  एमडी (यूपीसीएल) अनिल यादव, एमडी (यूजेवीएनएल) संदीप सिंघल बैठक में थे।

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